अनुक्रम
01. भूमिकाः आदिम लोकराग तलाशती कविताएं-श्री रमेश दत्त दुबे
02. भूमिकाः अपनी धरती की तलाश-श्री नंदकिशोर तिवारी
कविताएँ
01. जब कभी हो ज़िक्र मेरा
02. सबसे अच्छी परजा
03. मिसिर जी
05. लोग मिलते गये काफ़िला बढ़ता गया
06. मनौती
07. आयेगा कोई भगीरथ
08. प्रायश्चित
09. खतरे में है बचपन
10. वज़न
12. मिलन पाठ
13. अभिसार
15. पता नहीं
16. उहापोह
17. ख़ुशगवार मौसम
18. मृत्यु के बाद
19. अब जो दिन आयेगा
20. निकल आ
21. डैने
22. कुछ बचे या न बचे
23. लाख दुश्मनों बाली दुनिया के बावजूद
24. रहस्य
26. जनहित
27. दाग
29. सुघड़ता
30. अशेष
31. जाने से पहले
32. ख़तरा
35. जीत
36. ठण्डे लोग
37. ख़ौफ़
38. कुछ छोटी कविताएं-
39. वनवासी गमकता रहे
40. रास्ते
41. नदी
42. मनोकामना
43. ख़ाली समय
44. नींद से छूटते ही चला जाऊँगा
45. वापसी
46. इधर बहुत दिन हुए
47. ऐसे में तुम
49. तस्वीर के लिए
51. अभी भी
53. तीन कविताएं- (आत्मविश्वास, पाठ, एक कविता घड़ी पर)
54. विदाई के बाद
55. फिर से
56. सफ़र में
57. रतजगा
58. सत्यबीज
59. कैसोवरी*, हमारे द्वीप में आना मत
60. शर्त
61. कले देखना मुझे
62. कृष्णावतरण
64. अमरस
65. एक अदद घर
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कृतिः होना ही चाहिए आँगन
कविः जयप्रकाश मानस
प्रकाशकः वैभव प्रकाशन, शिवा इलेक्ट्रिकल्स के सामने
पुरानी बस्ती, रायपुर, छत्तीसगढ़, 492001
मूल्यः दो सौ रुपए
पृष्ठः 172
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